नागपुर: सोमवार, 26 मई की दोपहर विज्ञान और दृश्य चमत्कार का अद्भुत संगम देखने को मिला, जब नागपुर ने एक दुर्लभ खगोलीय घटना ‘ज़ीरो शैडो डे’ (Zero Shadow Day) का अनुभव किया। ठीक दोपहर 12:10 बजे, धरती पर मौजूद वस्तुएं बिना किसी परछाई के नजर आईं — यह दृश्य तब बनता है जब सूरज बिल्कुल सिर के ऊपर होता है।
यह अनोखी घटना साल में दो बार उन स्थानों पर होती है जो कर्क रेखा (Tropic of Cancer) और मकर रेखा (Tropic of Capricorn) के बीच स्थित होते हैं। पृथ्वी की 23.5 डिग्री की अक्षीय झुकाव के कारण, जब सूर्य की स्थिति किसी स्थान की अक्षांश (latitude) के बराबर होती है, तब सूर्य आकाश के शीर्ष (zenith) पर होता है और दोपहर में कोई परछाई नहीं बनती।
रमन विज्ञान केंद्र और तारामंडल के परियोजना समन्वयक मनोज कुमार पांडा ने बताया, “यह घटना पृथ्वी के झुकाव और उसकी कक्षा की गतियों का शानदार उदाहरण है।”
इस विशेष मौके को चिह्नित करने के लिए रमन साइंस सेंटर ने एक विशेष कार्यशाला का आयोजन किया, जिसमें छात्रों, शिक्षकों और खगोल प्रेमियों ने भाग लिया। सभी ने उस क्षण को देखा जब परछाइयां एकदम गायब हो गईं — जिसने विज्ञान के प्रति जिज्ञासा और आश्चर्य को जन्म दिया।
दिल्ली और श्रीनगर जैसे उत्तर भारत के शहरों में यह घटना कभी नहीं होती, लेकिन कर्क रेखा के पास स्थित होने के कारण नागपुर इसके लिए एक आदर्श स्थान बन जाता है। नागपुर में अगला ज़ीरो शैडो डे 17 जुलाई को दोपहर 12:20 बजे होगा।
पांडा ने कहा, “ऐसी घटनाएं विज्ञान को जीवंत बनाती हैं। यह सिर्फ परछाई की बात नहीं है — यह हमारे ग्रह और ब्रह्मांड के रिश्ते को समझने का अवसर है।”