Published On : Tue, May 21st, 2019

वाड़ी नगराध्यक्ष घूस कांड : क्या किसी के इशारे पर झाड़े को फंसाया गया ?

नागपुर: विगत सप्ताह वाड़ी के नगराध्यक्ष प्रेम झाड़े को रिश्वत लेने के मामले में एंटी करप्शन ब्यूरो के दल ने गिरफ्तार किया था. जिसे पीसीआर के बाद न्यायालयीन कस्टडी में कल तक के लिए भेज दिया गया था. आज मंगलवार इस प्रकरण पर फिर से सुनवाई है. उपस्थित समर्थकों का संगीन आरोप है कि झाड़े जैसे प्रभावी जनप्रतिनिधि के पर छांटने के लिए विधानसभा क्षेत्र में प्रभावी व्यक्ति ने षड्यंत्र रचा था.

इनके समर्थकों के अनुसार प्रेमनाथ झाड़े भाजपा के सक्रिय पदाधिकारी रहे हैं. इनके बढ़ते प्रभाव और विधानसभा चुनाव के मद्देनज़र इन्हीं के पक्ष के व्यक्ति ने षड्यंत्र रच अपने ही बैंक की महिला कर्मी के पति को बलि का बकरा बनाकर झाड़े को बरगलाने के लिए भेजा।निम्लिखित व्यक्ति के षड्यंत्र से अनभिज्ञ झाड़े झांसे में आ जाने से एसीबी के हाथ धरे गए.

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बलि का बकरा बने उक्त महिला के पति ने झाड़े के करीबियों से कहा कि वे काफी दबाव में थे. क्यूंकि उनकी पत्नी को उस व्यक्ति ने अपने बैंक में नौकरी दी थी. झाड़े को गिरफ्तार करवाने वाले का झाड़े के घर में नियमित उठना-बैठना था. जिस दिन घटना घटी,उस दिन भी कुछ देर पहले झाड़े के घर पर काफी देर बैठा था.

दरअसल इस व्यक्ति का सम्पूर्ण विधानसभा क्षेत्र में विकास कार्य खींच के लाने का जिम्मा हैं,इसके बाद विकासकार्य का ठेका भी अपने अपने करीबियों में बाँट रखा है. अमूमन विकासकार्य निकृष्ट दर्जे का देखा गया है.

आगामी विस चुनाव के मद्देनज़र घटती लोकप्रियता और झाड़े की बढ़ती पकड़ को कम करने के लिए इस व्यक्ति ने उक्त षड्यंत्र रचा.

इस षड्यंत्र का खुलासा होते ही पक्ष में ही व्यक्ति का विरोध सिरे से बढ़ गया और झाड़े से मिलने वालों का सिलसिला दिनोदिन काफी बढ़ गया.

झाड़े समर्थकों के हिसाब से झाड़े को फंसाने में बलि का बकरा बना व्यक्ति एसीबी की जाँच में खुद काफी उलझ गया. पिछले दिनों उसने अपने खाते से हज़ारों रूपए झाड़े को ट्रांसफर किये थे. जिसका ठोस वजह बताने में आनाकानी कर रहे हैं. अब देखना यह है कि आज की सुनवाई में क्या निष्कर्ष निकलता है

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