Published On : Wed, Sep 28th, 2022

चारों यूनियन की एक लाख से अधिक बोनस की डिमांड

Advertisement

– लेकिन रणनीति तय करने अभी तक नहीं हुई पहल

नागपुर – कोल इंडिया (CIL) एवं अनुषांगिक कपंनियों सहित सिंगरेनी कोलियरीज कंपनी के कामगारों सालाना बोनस (परफॉर्मेंस लिंक्ड रिवार्ड) तय करने आज 28 सितम्बर को प्रबंधन एवं यूनियन की मानकीकरण कमेटी की बैठक है.

रांची स्थित सीएमपीडीआईएल के सभागृह में आयोजित होने वाली इस बैठक को लेकर कामगारों में उत्सुकता की स्थिति बनी हुई है। बाजार की नजर भी इस बैठक पर रहेगी। इधर, यह देखना होगा कि इस दफे बोनस कितना तय होता है।

2021 में कोयला कामगारों को 72,500 रुपए बोनस के तौर पर मिले थे। कंपनी उत्पादन और राजस्व दोनों ही मामले में ग्रोथ में है। बैठक में सम्मिलित होने वाले चारों यूनियन एचएमएस, बीएमएस, सीटू, एटक के प्रतिनिधियों पर निर्भर करेगा कि कामगारों को कितनी बढ़ोतरी के साथ बोनस दिला पाते हैं।

एचएमएच के नाथूलाल पांडेय ने पहले ही एक लाख रुपए बोनस की डिमांड कर रखी है। बीएमएस की ओर से भी एक लाख रुपए से अधिक बोनस दिए जाने की बात कही गई है। सीटू नेता और मानकीकरण कमेटी के सदस्य डीडी रामनंदन ने कहा बोनस तो एक लाख रुपए से अधिक मिलना चाहिए।

मनकीकरण कमेटी की बैठक में प्रबंधन की ओर से सीआईएल के चेयरमैन, सीआईएल के निदेशक (कार्मिक एवं औद्योगिक संबंध), बीसीसीएल सीएमडी, कोयला उत्पादन करने वाली सातों अनुषांगिक कंपनियों के निदेशक (कार्मिक), सीएमपीडीआईएल के निदेशक (टी/सीआरडी), सीआईएल के कार्यपालक निदेशक (वित्त) सम्मिलित होंगे। इसी तरह यूनियन की ओर नामित किए गए प्रतिनिधियों में सुधीर घुरडे, जयनाथ चौबे (बीएमएस), नाथूलाल पांडेय, शिवकांत पांडेय (एचएमएस), रमेंद्र कुमार (एटक), डीडी रामनंदन (सीटू) बोनस तय करने होने वाली बैठक में सम्मिलित होंगे।

यूनियन नेताओं की अब तक आपस में कोई चर्चा नहीं
मानकीकरण कमेटी की बैठक में सम्मिलित होने वाले चारों यूनियन प्रतिनिधियों की फिलहाल बोनस को लेकर आपस में कोई चर्चा नहीं हुई है। हालांकि रांची पहुंचने पर यूनियन नेतागण रणनीति तय करने कोई मीटिंग करते हैं या नहीं यह देखना होगा।

बीते 5 सालों का ट्रेंड बरकरार रहा तो 77000- 78000 से ज्यादा नहीं मिलेगा बोनस
2021 में कोयला कामगारों को 72,500 रुपए बोनस के तौर पर प्राप्त हुए थे। बीते पांच सालों का बोनस बढ़ोतरी का ट्रेंड देखें तो इस बार बोनस 77,000 से 78,000 रुपए बनता है। 2017 से 2021 तक बोनस की राशि में औसतन 6 फीसदी की बढ़ोतरी रही है। जबकि 2012 से 2016 के दौरान बोनस में खासी वृद्धि देखने को मिली थी। बीते 10 साल में सर्वाधिक 22 फीसदी की बढ़ोतरी 2014 में हुई थी। इस साल 40,500 रुपए बोनस जारी किया गया था। 2013 में 31,500 रुपए मिले थे।

हालांकि 28 सितम्बर को होने वाली बैठक के बाद पता चलेगा की इस साल कितनी राशि पर मुहर लगाई गई है। इधर, बोनस के साथ गुडविल अमाउंट के तौर पर पृथक से राशि दिए जाने की मांग भी उठ रही है, लेकिन इसकी संभावना नहीं के बराबर है।

कब कितना बोनस मिला
2012- 26,000
2013- 31,500
2014- 40,500
2015- 48,500
2016- 54,000
2017- 57,000
2018- 60,500
2019- 64,700
2020- 68,500
2021- 72,500