अकोला : 381 धार्मिक स्थलों को नोटिस जारी
अकोला। शहर की सीमा में स्थित 381 से अधिक प्रार्थना स्थलों के प्रबंधकों को गुरूवार को नोटिस जारी किया गया. वहीं गुरूवार को कुछ प्रार्थना स्थलों के प्रबंधक नोटीस लेकर मनपा कार्यालय पहुंचे थे. अगले सप्ताह इन अनधिकृत धार्मिक स्थलों का अतिक्रमण हटाया जाएगा. सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर महानगर पालिका के उपायुक्त दयानंद चिंचोलीकर ने बुधवार को चारों क्षेत्रीय अधिकारियों को उनके अधीनस्थ बिट निरीक्षकों के जरिए प्रार्थना स्थलों के प्रबंधकों को नोटिस जारी करने या प्रार्थना स्थल पर नोटिस चिपकाने के निर्देश दिए थे. आज 65 बिट निरीक्षकों ने करीब 381 प्रार्थना है.
शहर के मार्गो तथा प्रभागों में बनाए जारी कर दस्तावेज पेश करने के निर्देश दिए है. सुप्रिम कोर्ट में दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए न्यायामूर्तिने सडक के किनारे, शासकीय कार्यालय, खुले भूखंड पर बिना अनुमति के बनाए गए सभी धार्मिक स्थलों पर कार्रवाई करने के निर्देश जारी किए है. मनपा प्रशासन की और से सभी क्षेत्रिय अधिकारियों को उनके क्षेत्र में बने धार्मिक स्थलों की जानकारी देने के आदेश जारी किए थे. उक्त आदेश मिलने के पश्चात चारों जोन के अधिकारियों ने 381 धार्मिक स्थलों को नोटिस जारी किया है. जिसमें पूर्व जोन में 104, पश्चिम में 60, उत्तर मेंं 75 तथा दक्षिण जोन में 140 समेत 381 धार्मिक स्थलों को लेकर सुप्रिम कोर्ट ने 2006 में सुनवाई की थी जिससे राज्य सरकार ने 28 अक्टूबर 2009 को आदेश जारी करते हुए धार्मिक स्थलों की जानकारी मांगी थी. मनपा प्रशासन की जांच में 2009 में 199 धार्मिक स्थल पाए गए थे.
निजी भूखंडों पर स्थापित किए गए प्रार्थना स्थलों के प्रबंधकों के लिए भी महानगर पालिका के नगर रचना विभाग से निर्माण की मंजूरी भी आवश्यक है. नगर रचना विभाग के बगैर मंजूरी के निर्माण किए गए धार्मिक स्थल अनधिकृत ही रहेंगे. उन्है कानूनी दस्तावेज पेश कर तथा नगर रचना विभाग से निर्माण की मंजूरी लेकर ही नियमित किया जा सकता है. इस के लिए धर्मादाय कार्यालय की मंजूरी भी जरूरी है. धार्मिक स्थानों को मनपा प्रशासन द्वारा गुरूवार को नोटिस जारी किए जाने के बाद शहर में खलबली मची है. कौन से प्रार्थना स्थल अनधिकृत हैं ? और कौन से धार्मिक स्थलों का अतिक्रमण हटाया जाएगा ? इस संदर्भ में लोगों में अलग अलग चर्चा चल रही थी .
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