नागपुर. विधानसभा चुनाव की प्रक्रिया के दौरान कई तरह की खामियां उजागर करते हुए जहां दक्षिण पश्चिम नागपुर विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस के प्रत्याशी रहे प्रफुल्ल गुड्धे ने चुनाव याचिका दायर की, वहीं कांग्रेस प्रत्याशी गिरीश पांडव और सतीश वारजुरकर ने भी याचिका दायर की.
जिस पर गुरूवार को सुनवाई के बाद हाई कोर्ट ने भाजपा की सीट पर चुनाव जीते देवेन्द्र फडणवीस, मोहन मते और कीर्तिकुमार भांगडिया को नोटिस जारी कर 8 मई तक जवाब दायर करने के आदेश दिए. याचिकाकर्ताओं की ओर से अधि. आकाश मुन और अधि. पवन डहाट ने पैरवी की.
प्रफुल्ल गुड्धे, गिरीश पांडव और सतीश वारजुरकर की ओर से पैरवी कर रहे अधि. आकाश मून ने कहा कि विधानसभा चुनावों के संचालन में प्रक्रियात्मक अनियमितताओं देखी गई है. भाजपा के प्रत्याशियों की चुनावी जीत को चुनौती देते हुए बताया कि चुनाव आयोग ईवीएम के माध्यम से चुनाव कराने से पहले अनिवार्य कानूनी आवश्यकताओं का पालन करने में विफल रहा. उन्होंने दावा किया कि ईवीएम-आधारित मतदान के लिए कोई आधिकारिक अधिसूचना जारी नहीं की गई थी. सीसीटीवी फुटेज और फॉर्म 17 सहित आवश्यक चुनाव रिकॉर्ड उन्हें उपलब्ध नहीं कराए गए थे. इसके अलावा वीवीपीएटी सत्यापन नहीं किया गया था. जिससे चुनावी पारदर्शिता का पालन नहीं होने की आपत्ति भी दर्ज की.