नागपूर– सरकार ने रातों रात अपना निर्णय बदलते हुए मुफ्त एसटी बस सेवा यह केवल महाराष्ट्र में फंसे हुए अन्य राज्यों के मजदूरों के लिए ही होगी ऐसा निर्णय लिया है. एक तरफ सरकार ने कोटा शहर से विद्यार्थियों को आरामदायक बसों से मुफ्त में लाया है. तो वही दूसरी तरफ पुणे-मुंबई जैसे शहरो में रोजगार के लिए गए युवको, कॉम्पिटेटिव परीक्षाओ की तैयारी करनेवाले सैकड़ो यूवा जो इन शहरो में फंसे है.
ऐसे विद्यार्थियों और युवाओ से दुगुना टिकट के पैसा लिया जाना यानी इनके जख्मो पर नमक छिड़कने जैसा है. यह कहना है आम आदमी पार्टी की युवा आघाडी राज्य समिती सदस्य कृतल आकरे का.
कृतल और आप युवा आघाडी के विदर्भ रिजन संयोजक पियुष आकरे का कहना है की यह सभी विद्यार्थी परीक्षा के अनिश्चित टाइम टेबल के अभाव में इन शहरों में फंसे हुए थे. इनका कहना है की इन विद्यार्थियों में से ज्यादातर विद्यार्थी ग्रामीण भाग के रहनेवाले है और गरीब है. जिसके कारण सरकार ने इनसे टिकट के पैसे नहीं लेने चाहिए.
इसलिए सरकार ने तुरंत अपना निर्णय बदलना चाहिए और मुख्यमंत्री सहायता निधि से सभी फंसे हुए विद्यार्थियों को मुफ्त में लाने की मांग आम आदमी पार्टी की युवा आघाडी राज्य समिती सदस्य कृतल आकरे की ओर से की गई है.