Published On : Sat, Oct 21st, 2017

ड्यूटी से नदारत, लेकिन पक रहा पूरा पगार

Advertisement

नागपुर: वेस्टर्न कोल्फ़ील्ड्स लिमिटेड पूर्णतः सरकारी इकाई नहीं है, लेकिन अधिनस्त जरूर है. इसलिए बहुतेक मामले में खुद का निर्णय सर्वोपरि होता है. इसलिए अधिकारी और कर्मचारी भी सरकारी नियमों को ताक पर रख अपनी स्वार्थपूर्ति करते पाए जाते हैं. फिर चाहे चुनावी मामले में भाग लेने का विषय क्यों न हो!

वेकोलि मुख्यालय के अधिकारी-कर्मचारी अपनी रोजमर्रा के कार्य छोड़कर महीनों हाज़री लगाए या फिर बिना लगाए नदारत हो जाते हैं. यह कोई आज की घटना नहीं बल्कि वर्षों से चली आ रही हैं. अधिकांश का प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष व्यवसाय है, या फिर पूर्ण कालीन नेतागिरी या दलाली करते देखे जा सकता है. शायद इतनी शिद्दत से अपनी रोजी-रोटी देने वाले कार्य-विभाग से जुड़े होते तो कोयला विभाग की आज दशा कुछ और होती. इसके बावजूद आए दिन वेकोलि मुख्यालय विभिन्न हतकंडे अपनाकर खुद का पीठ थपथपाने से बाज नहीं आती है.

Gold Rate
24 May 2025
Gold 24 KT 96,300/-
Gold 22 KT 89,600/-
Silver/Kg 98,500/-
Platinum 44,000/-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above

वेकोलि के मुख्यालय के साथ प्रत्येक खदानों में कम से कम एक दर्ज़न से अधिक अधिकारी-कर्मचारी जो बिना काम किए मासिक वेतन और सारी सहूलियतों का लाभ उठा रहे हैं, जो आए दिन किसी न किसी बहाने से अधिकृत-अनाधिकृत छुट्टी पर रहते हैं और वेतन फुल के साथ अन्य लाभ उठाते मिल जाएंगे। वेकोलि प्रशासन द्वारा दिए गए जिम्मेदारी को छोड़ अपने ऊपरी अधिकारी को पक्ष में लेकर या उन्हें डरा-धमकाकर पिछले १५ दिनों से गायब हो जाते हैं. बावजूद इसके संबंधित प्रशासन को पता रहने के बावजूद गायब होने वाले कर्मियों को पूरा वेतन देने का सिलसिला जारी है.

सबसे अहम यह है कि वेकोलि मुख्यालय के अधिकारियों की चुप्पी समझ से परे है. क्या वेकोलि में कोई नियम-कानून नहीं है? क्या वेकोलि प्रशासन पर बाहरी जनप्रतिनिधियों का खौफ है ?

खदानों की कॉलोनियों में बाहरियों का जबरन कब्ज़ा
वेकोलि की कन्हान(टेकाडी कॉलोनी) स्थित खदानों के साथ अन्य खदानों के लिए कॉलोनियों में जरूरतमंद कर्मियों को जगह उपलब्ध करवाने की बजाय बाहरियों के कब्जे को बरक़रार रखा गया है. वेकोलि प्रशासन की शह पर अधिकांश कॉलोनियों में बाहरियों का कब्ज़ा तो है ही,इसके अलावा आसपास के जमीनों पर भी कब्ज़ा जमाए बैठे हैं.सबसे ज्यादा नागपुर स्थित मुख्यमहाप्रबंधक कार्यालय अंतर्गत खदानों का तो यही आलम है.यहां के मुख्यमहाप्रबंधक के साथ के कारण कॉलोनियों के क्वाटरों पर तो कब्ज़ा है, इसके अलावा कॉलोनी के खाली जमीन के साथ खदान क्षेत्र में रिक्त जमीनों पर बाहरियों का कब्ज़ा दिनों दिन बढ़ते जा रहा है.

स्कूली बसों में अवैध धंधे
वेकोलि प्रशासन ने कर्मियों के बच्चों को स्कूल-कॉलेज आवाजाही के लिए ठेके पर निजी बसें उपलब्ध करवाई है. इन बसों के मालक वेकोलि के बच्चों के अलावा बाहरी प्रत्येक बच्चों को ५-६ सौ रुपए माहवारी पर लाते-ले जाते हैं. कोराडी रोड निवासी एक पालक नारनवरे के अनुसार सैकड़ों बाहरी बच्चे इसी तरह आवाजाही करते हैं.

Advertisement
Advertisement
Advertisement