अन्वी मिर्झापुर के शुद्धोधन बागडे ने की थी राष्ट्रपति से इच्छा मृत्यु की मांग
अकोला। अकोला तहसील अंतर्गत आने वाले ग्राम अन्वी मिर्झापूर निवासी शुद्धोधन सहदेव बागडे ने जिलाधिकारी कार्यालय परिसर में आत्मदहन करने का प्रयास किया. लेकिन कापसी मामले के बाद पुलिस की हुई किरकिरी तथा उनकी गिरी साख के कारण आंखों में तेल डालकर बैठी अकोला पुलिस ने शुद्धोधन बागडे को तीली जलाने से पहले ही धरदबोचा. इसी व्यक्ति ने इससे पूर्व सीधे राष्ट्रपति को पत्र भेजकर इच्छा मृत्यु की मांग की थी. परंतु न्याय न मिलने से उसने सोमवार को जिलाधिकारी कार्यालय के समक्ष आत्मदहन करने की चेतावनी देकर पुलिस प्रशासन को सकते में डाल दिया था.
अन्वी मिर्झापुर निवासी शुद्धोधन का आरोप है कि गांव के कुछ नागरिक उसे बुरी तरह से तकलीफ दे रहे हैं. शिकायत के बाद पुलिस भी कोई कार्रवाई नहीं कर रही है. तकलीफ कम होने के बजाए लगातार बढने से उसके सामने आत्मदहन के सिवाय कोई दूसरा विकल्प नहीं है. शुद्धोधन बागडे ने जिलाधिकारी व जिला पुलिस अधीक्षक को निवेदन देकर सोमवार 27 अप्रैल को जिलाधिकारी कार्यालय परिसर में आत्मदहन करने की चेतावनी दी थी. गांव के कुछ बाशिंदे उसे तकलीफ देते हैं. इसकी शिकायत के बाद भी प्रशासन ने आंखे मूंदने का आरोप उसने किया था. लिहाजा उसने राष्ट्रपति से स्वेच्छा मरण की अनुमति मांगी थी. लेकिन वहां से भी न्याय न मिलने के कारण सोमवार को आत्मदहन करने की चेतावनी शुद्धोधन ने जिला प्रशासन को दी थी. गांव के कुछ लोग उसे जाति के बाहर डालने का प्रयास कर रहे हैं. झूठी शिकायतें कर समाज में उसकी प्रतिमा मलीन कर रहे हैं.
इतना ही नहीं अन्य ग्रामीणों की सहानुभूति भी नष्ट करने का प्रयास किया जा रहा है. जिससे परेशान होकर उसका परिवार खौफ में जी रहा है. परिजनों को शारीरिक व मानसिक रूप से प्रताड़ित किए जाने का कारण बताते हुए शुद्धोधन ने आत्मदहन का फैसला लिया था. दोपहर वह जैसे ही आत्मदहन के लिए शरीर पट मिट्टी का तेल उड़ेल ते हुए जिलाधिकारी कार्यालय परिसर पहुंचा वैसे ही जाल बिछाकर बैठी पुलिस ने उसे धरदबोचा. पुलिस ने नाकामी से बचने के लिए सतर्कता बरत रखी थी. उसे पकडने के बाद ठंडा पानी पिलाकर पुलिस ने कपडों पर उंडेला मिट्टी का तेल पोछा और उसे समझा-बुझाकर शांत किया. शुद्धोधन को पकडने के बाद पुलिस ने राहत की सांस ली.
