Published On : Sat, Jul 4th, 2015

यवतमाल : पुलिस पाटिल राठोड़ हत्याकांड में 6 गिरफ्तार, 8 तक पीसीआर

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हत्याकांड के पहले भी पुलिस कर सकती थी कार्रवाई 

यवतमाल। यावली (कारेगाव) के पुलिस पाटिल वीरेंद्र राठोड़ हत्याकांड में आज वडगाव जंगल के थानेदार भारती ने 6 आरोपियों को गिरफ्तार किया. उन सभी को 8 जुलाई तक पीसीआर में रखने के निर्देश दिए गए. आज न्यायालय में उन्हें दोपहर को पेश किया गया था. इन आरोपियों में महादेव गोविंद टेकाम (22), दिवान गोविंद आत्राम (26), हुसैन काशीनाथ आत्राम (37), शंकर विठोबा अंजीकर (50), सुदाम लक्ष्मण शिवनकर (33) और भगवान उर्फ डोमा लक्ष्मण शिवनकर (35) का समावेश है.

शराबबंदी मामले को लेकर पुलिस पाटिल वीरेंद्र राठोड़ की हत्या की गई है. इससे पहले भी वडगाव जंगल पूर्व थानेदार खार्डे को इस बारे में बार-बार सुचना दी गई थी, मगर उन्होंने इन शराब विक्रेताओं के खिलाफ कार्रवाई करना मुनासिब नहीं समझा. जिससे शराब विक्रेताओं की हिम्मत बढ़ गई. उसी के चलते उन्होंने पुलिस पाटिल की रास्ते में रोककर पत्थर से प्रहार करके हत्या कर दी. कई बार गाव की महिलाओं ने शराबबंदी के लिए मोर्चे निकाले, ज्ञापन सौंपा. फिर भी हप्ते की मलाई के कारण इन शराब विक्रेताओं को तत्कालीन थानेदार ने खुला छोड़ दिया. जब वीरेंद्र राठोड़ की हत्या की जा रही थी. उससे पहले कई बार वडगाव जंगल के थानेदार भारती और थाने के फोन पर इसकी सूचना दी गई. हत्या जैसी घटना घट सकती है, ऐसा भी बताया गया, मगर भारती और थाने में उपस्थित किसी भी पुलिस कर्मी ने घटनास्थल जाकर इस हत्याकांड को रोकने की कोशिश नहीं की. जिसके चलते पुलिस पटेल राठोड़ की बेदर्दी से हत्या की गई.

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इस मामले में यवतमाल के डीवाईएसपी राहुल मदने से जब पूछा गया तब उन्होंने चुप्पी साध ली. इस मामले में कुछ भी बोलने से इन्कार करते रहे. इतना ही नहीं तो एसपी से बात करो, ऐसी सलाह उन्होंने दी. आज इस गाव में पालकमंत्री संजय राठोड़, पूर्व मंत्री शिवाजीराव मोघे आदि ने जाकर राठोड़ परीवार की सात्वना की. गाव में आज चप्पे-चप्पे पर पुलिस कड़ा बंदोबस्त था. इस समय एसपी अखिलेशकुमार सिंह भी उपस्थित थे. गाव में अवैध शराब ना बेची जाए, इसकी पुरी जिम्मेदारी जिला पुलिस प्रशासन की होती है. मगर यह काम यवतमाल जिले में गाव के महिला संगठन, महिला बचत गुटों और स्वाभीमानी संगठन को करना पड़ रहा है. पुलिस इस काम में योगदान भी देना गवारा नहीं समझ रही है. जिससे शराब विक्रेताओ की हिम्मत बढ़ गई है. एसपी ने समाचार लिखे जाने तक इस बिट के भी जमादार या सिपाई को निलंबित नहीं किया था.

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Representational Pic

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