Published On : Tue, Oct 14th, 2014

नागपुर : “सॉरी सर” कहकर केस वापस ले लिया मुसले के वकील ने

Advertisement


सुप्रीम कोर्ट से भी लौटे खाली हाथ, मामला सावनेर के भाजपा उम्मीदवार मुसले के रद्द पर्चे का

सेना-राकांपा समर्थकों में उत्साह

Sonba Musle
नागपुर टुडे।
 नागपुर जिले के सावनेर विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र से भाजपा के उम्मीदवार सोनबा मुसले के सामने आज मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में कुछ ऐसी स्थिति पैदा हो गई कि उनके वकील को “सॉरी सर” कहकर अपना केस वापस ले लेना पड़ा. मामला सुप्रीम कोर्ट में कुछ मिनटों से अधिक नहीं टिक पाया.

Gold Rate
26 dec 2025
Gold 24 KT ₹ 1,37,900/-
Gold 22 KT ₹ 1,28,200/-
Silver/Kg ₹ 2,28,500/-
Platinum ₹ 60,000/-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above

भाजपा के प्रत्याशी सोनबा मुसले द्वारा नामांकन पत्र में गलत जानकारी देने के कारण निर्वाचन अधिकारी ने उनका पर्चा रद्द कर दिया था. मुसले ने निर्वाचन अधिकारी के फैसले को उच्च न्यायालय में चुनौती दी थी, जहां से उन्हें उल्टे पांव लौटना पडा था. मगर मुसले ने हार नहीं मानी और सुप्रीम कोर्ट की शरण में चले गए.

आज सुनवाई के दौरान न्यायाधीश ने मुसले के वकील से पूछा, “क्या आपको डिसमिस कर दूं”. अधिवक्ता न्यायाधीश के इशारे को समझ गए. तुरंत कहा, “सॉरी सर. ” और आनन-फानन में केस वापस ले लिया. इस तरह मुसले को सुप्रीम कोर्ट से भी खाली हाथ लौटने पर मजबूर होना पड़ा है. इस खबर के सावनेर पहुंचते ही भाजपाई खेमे में घोर निराशा फ़ैल गई है.

मुसले की याचिका पर सुनवाई सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश द्वय जे. चिलमेश्वर और पी. सी. घोष के समक्ष हुई. दरअसल, सुप्रीम कोर्ट की फुल बेंच का इससे पूर्व का एक फैसला है कि चुनाव प्रक्रिया में न्यायालय को हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए. संभवतः इसी कारण निर्णय सुप्रीम कोर्ट की “डबल बेंच” ने लिया.

मुसले के चुनाव मैदान से पूरी तरह बाहर होने की खबर सावनेर के भाजपाइयों में किसी “वायरस” की तरह ही फ़ैली. भाजपाई समझ नहीं पा रहे हैं कि चुनावी प्रक्रिया में अब किस दल के पक्ष में मतदान करें. इस फैसले से सेना और राकांपा उम्मीदवार और उनके समर्थकों में नई ऊर्जा का संचार जरूर हो गया है.

द्वारा:-राजीव रंजन कुशवाहा

GET YOUR OWN WEBSITE
FOR ₹9,999
Domain & Hosting FREE for 1 Year
No Hidden Charges
Advertisement
Advertisement