Published On : Thu, Jul 2nd, 2020

Video: स्मार्ट सिटी प्रकल्प पर आयुक्त मुंढे का डंडा

आज दोपहर महापौर जोशी,विधायक खोपड़े आदि ने किया दौरा

नागपुर – मनपायुक्त मुंढे की हठधर्मिता से न सिर्फ मनपा बल्कि स्मार्ट सिटी प्रकल्प का विकासकार्य थम गया।आज महापौर संदीप जोशी और विधायक कृष्णा खोपड़े,विधायक गिरीश व्यास सह अन्य पदाधिकारियों ने प्रकल्प क्षेत्र का दौरा किया,जिसमें जानकारी दी गई कि मनपायुक्त ने न सिर्फ काम रोका बल्कि प्रकल्पग्रस्तो का मुआवजा भी रोक दिया, जिसके बाद उक्त निष्कर्ष निकाला गया।

Gold Rate
19 Sept 2025
Gold 24 KT ₹ 1,10,300 /-
Gold 22 KT ₹ 1,02,600 /-
Silver/Kg ₹ 1,29,600/-
Platinum ₹ 48,000/-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above

आज दोपहर स्मार्ट सिटी प्रकल्प क्षेत्र भारतवाड़ा, पारडी व पुनापुर का दौरा महापौर संदीप जोशी,उपमहापौर मनीषा कोठे,स्थाई समिति सभापति पिंटू झलके,विधायक कृष्णा खोपड़े,स्थाई समिति पूर्व सभापति प्रदीप पोहाणे सह स्थानीय नगरसेवक वर्ग उपस्थित थे। महापौर जोशी सह अन्य प्रकल्प क्षेत्र के मार्गो,पानी की टंकी आदि के निर्माण स्थल पर गए,प्रकल्प के अधिकारियों सह संबंधित ठेकेदारों से जानकारी ली,लेकिन समाधानकारक जवाब न होने के कारण महापौर जोशी भड़क गए और कहे क्या मनपा प्रशासन केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के स्वप्न प्रकल्प के सकारात्मक मंसूबे पर पानी फेरना चाह रहा।

प्रकल्प के अधिकारियों ने जानकारी दी कि काम 5% भी पूरा नहीं हुआ और संबंधित ठेकेदार कंपनियों को लगभग 100 करोड़ का भुगतान कर दिया गया।

विधायक कृष्णा खोपड़े ने बताया कि स्मार्ट सिटी प्रकल्प 3500 करोड़ का था,जिसको पूर्ण करने की मुद्दत जून2020 तक थी। जबतक सोनवणे स्मार्ट सिटी के मुख्य कार्यकारी अधिकारी थे तब तक प्रकल्प ग्रस्तों को तय 2 क़िस्त दी गई,उनके जाने के बाद मुंढे ने न सिर्फ काम रोका बल्कि प्रकल्पग्रस्तो का तीसरा किश्त रोक दिया,इसकी वजह यह दी गई कि स्मार्ट सिटी की आगामी बोर्ड मीटिंग में अंतिम निर्णय लेंगे। जबकि स्मार्ट सिटी प्रकल्प के राज्य के प्रमुख प्रवीण परदेशी ने बैठक लेकर मुआवजा देने का निर्णय दे चुके हैं, इसके लिए तत्कालीन सीईओ को फटकार भी लगाई थी।

खोपड़े ने आगे कहा कि मुंढे आयुक्त जरूर हैं लेकिन स्मार्ट सिटी प्रकल्प के अधिकृत सीईओ नहीं हैं, फिर कैसे प्रकल्प के कामकाजों में दखल कर रहे और भुगतान भी कर रहे। इतना ही नहीं मुंढे आजकल विवादास्पद निर्देश मौखिक दे रहे,ताकि उनकी मुंडी किसी कानून के दायरे में न फंस सके।

Advertisement
Advertisement