नागपुर: महानगर पालिका चुनाव में उम्मीदवारी की हसरत लिए पार्टी के लिए जी जान लगाने वाले कार्यकर्त्ता साक्षात्कार जरूर दे रहे हो पर सिर्फ इतना भर करने से उनकी दावेदारी पक्की हो ही जाएगी ऐसा भी नहीं है। काँग्रेस और बीजेपी दोनों पार्टियों में मनपा चुनाव में इच्छुक उम्मीदवारों का साक्षात्कार इन दिनों पार्टी ऑफिस में चल रहा है। जिसमे शहर के 38 प्रभागों में से दोनों दलो से ही हजारों कार्यकर्ताओं ने टिकट की दावेदारी ठोकी है। कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ को देखते हुए पार्टियों ने सर्वे से लेकर साक्षात्कार तक का सहारा लिया। अपने काम पार्टी के लिए विजन और टिकिट की हसरत लिए कार्यकर्त्ता बाकायदा फॉर्म भरकर साक्षात्कार दे रहे है।
बीजेपी के अनुसार जिसे टिकिट चाहिए उसे पार्टी की सदस्यता और आवेदन फॉर्म को भरना अनिवार्य है। कुछ ऐसा ही दावा काँग्रेस का भी है। लेकिन इतना करके भी किसी की दावेदारी पक्की हो ही जाएगी ऐसा भी नहीं है। बीजेपी के शहर अध्यक्ष विधायक सुधाकर कोहले के मुताबिक पार्टी उम्मीदवारों का दमख़म जानने साक्षात्कार जरूर ले रही है लेकिन पार्टी उसी का विचार करेगी जिसमे चुनाव जीतने की क्षमता हो जनता में उसकी पकड़ हो।
काँग्रेस पार्टी के उम्मीदवारों का साक्षात्कार ले रहे पूर्व केंद्रीय मंत्री विलास मुत्तेमवार ने कहाँ कि साक्षात्कार का मकसद पार्टी कार्यकर्ताओ की तैयारी का जायजा लेना और शहर की समस्याओं के प्रति उनकी समझ को जानना है इससे यह तय नहीं हो जाता की साक्षात्कार देने वाले को ही उम्मीदवारी दे दी जाये। किसी भी दल का मकसद चुनाव जीतना होता है इसलिए चुनाव मैदान में ऐसे ही उम्मीदवार को टिकिट दी जाती है जो जीत कर आए। अंतिम फैसला तो पार्टी की पार्लियामेंट्री बोर्ड को ही करना है।
काँग्रेस और बीजेपी के दोनों नेताओं की राय जानने के बाद ये तो साफ हो ही जाता है कि मनपा चुनाव में दोनों दलो से टिकिट उसकी को मिलेगी जिसका दम ज्यादा होगा।