Published On : Mon, Apr 9th, 2018

सिंधी भाषा सहेजने और लोगों को जोड़ने नागपुर सेंट्रल सिंधी पंचायत का गठन

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नागपुर: शहर के करीब 1 लाख सिंधी परिवारों को प्रत्यक्ष जोड़ने हेतु नागपुर सेंट्रल सिंधी पंचायत गठन सिंधी समाज ने किया. इसमें नगर के विभिन्न क्षेत्रों से जुड़े सिंधी समाज के वरिष्ठ नेता प्रताप मोटवानी अध्यक्ष नियुक्त किए गए. खामला क्षेत्र के समाजसेवी विनोद जेठानी महासचिव नियुक्त हुए. मोटवानी ने बताया कि अभी तक नागपुर में 1 लाख सिंधीयो को प्रत्येक्ष जोड़ने के लिए कोई सिंधी संगठन नहीं था. इस पंचायत द्वारा शहर के सभी परिवारों को निशुल्क जोड़ा जाएगा. सिंधी समाज में सिंधी बोली लुप्त हो रही है. सिंधी बोली को बढ़ावा देने के लिए इस संगठन का निर्माण किया गया. इसके लिए एक मोबाइल एप द्वारा सभी परिवारों को जोड़ा जाएगा तथा सिंधी बोली को बढ़ावा देने हेतु सिंधी कार्यक्रम लिए जाएंगे. विदर्भ के सिंधी समाज को जोड़ने हेतु डॉ. विक्की रुघवानी के नेतृत्व में सिंधी विकास परिषद कार्यरत है. नागपुर के सिंधी समाज की समस्याओं के समाधान हेतु यह पंचायत विक्की कुकरेजा, डॉ. विक्की रुघवानी, प्रा. विजय केवलरामानी, संजय वाधवानी, नारायण आहूजा से लेकर राज्य सरकार के सहयोग से उनके सभी कार्य करवाने में सहयोग प्रदान करेगी.

महासचिव विनोद जेठानी के अनुसार पंचायत की शहर में 5 विधानसभा क्षेत्रों में अलग अलग इसकी क्षेत्रीय शाखाएं बनाई जाएगी ताकि उस क्षेत्र के सिंधी समाज के परिवारों को उनके ही क्षेत्र में उनको पूरा सहयोग प्राप्र्त हो. पंचायत के पदाधिकारियों की घोषणा अति शीघ्र की जाएगी. जिसमें नगर के प्रतिष्ठित सिंधी समाज के गणमान्य जोड़े जाएंगे. पंचायत का चैरिटी कमेटी में रजिस्ट्रेशन करने का कार्य छापरु समाज से जुड़े समाजसेवी शंकर सुगंध करेंगे. सिंधी समाज को मोबाइल एप द्वारा जोड़कर एक ही जगह रजिस्ट्रेशन करने का कार्य महेश ग्वालानी करेंगे. पंचायत के तीन स्थानों पर कार्यालय होंगे. जिसमें पूर्व नागपुर में हनी अर्जुन कौशलया काम्प्लेक्स में, खामला में प्लॉट न 52, खामला सिंधी कॉलोनी, और 1 कार्यालय जरीपटका में आरंभ किया जाएगा. मोटवानी ने बताया कि सिंधी समाज की समस्याएं निपटाने सिंधी समाज के वरिष्ठों के साथ मिलकर कार्य किया जाएगा.

महासचिव विनोद जेठानी ने बताया कि वे 4 एकड़ जमींन दे देंगे. जिसमें सिंधी समाज का बेहतरीन प्रकल्प बनाया जाएगा. समाज के लोगों को इसका लाभ मिलेगा. खामला में पूजा स्मृति भवन में 20 कमरे और एक हॉल में बाहरगांव से आनेवाले मरीज व उनके परिवारों को रहने की निशुल्क व्यवस्था की गई है. उसी तरह आर्थों लाइब्रेरी में व्हील चेयर, पलंग, वॉकर, छड़ी की सुविधाएं मरीजों के लिए बिना किराए से दी जाती है.