Published On : Wed, Jun 20th, 2018

क्या गृह मंत्री राजनाथ सिंह को नहीं थी महबूबा मुफ्ती सरकार को गिराने की जानकारी?

Advertisement

नई दिल्ली : एक दिन पहले जम्मू-कश्मीर की राजनीति में आए भूचाल से देश के गृहमंत्री और भाजपा के कद्दावर नेता राजनाथ सिंह अनभिज्ञ थे. कोलकाता के प्रमुख द टेलीग्राफ ने दावा किया है कि मंगलवार सुबह में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकरा अजीत डोवाल ने जब भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह से उनके बंगले पर मुलाकात की तो गृह मंत्री राजनाथ सिंह नॉर्थ ब्लॉक की पहली मंजिल पर अपने दफ्तर में बैठे हुए थे. इसके जब भाजपा के नेता जब दिल्ली में प्रेस कांफ्रेंस कर जम्मू-कश्मीर की महबूबा मुफ्ती सरकार से समर्थन वापस लेने की घोषणा कर रहे थे उस वक्त गृह मंत्री अपने ऑफिस से सीधे अपने आधिकारिक आवास चले गए.

अखबार ने दावा किया है कि गृह मंत्रालय के दो बड़े अधिकारियों से उसे यह जानकारी मिली है. अधिकारियों ने बताया था कि ऐसा लग रहा था कि राजनाथ सिंह को जम्मू-कश्मीर के राजनीतिक उथल-पुथल के बारे में कोई जानकारी नहीं थी.

Gold Rate
20 dec 2025
Gold 24 KT ₹ 1,32,200/-
Gold 22 KT ₹ 1,22,900 /-
Silver/Kg ₹ 2,03,400/-
Platinum ₹ 60,000/-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above

अखबार ने यह भी दावा किया है कि दोनों वरिष्ठ अधिकारियों के अलावे अन्य अधिकारियों ने भी बताया कि जम्मू-कश्मीर के लिए सरकार के वर्ताकार दिनेश्वर शर्मा को भी इस पूरे डेवलपमेंट्स के बारे में कोई जानकारी नहीं थी. भाजपा महासचिव राम माधव ने महबूबा मुफ्ती सरकार से समर्थन वापस लेने की घोषणा के बार गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि हमें तो भूल जाइए, लगता है कि राजनाथ सिंह को भी इस पूरे डेवलपमेंट में बारे में कोई जानकारी नहीं थी.

दिनेश्वर शर्मा को भी नहीं थी जानकारी
अखबार का दावा है कि भाजपा के समर्थन वापस लेने के बाद उसने जम्मू-कश्मीर के वार्ताकार दिनेश्वर शर्मा से संपर्क किया तो उन्होंने कहा, ”मैं अभी श्रीनगर में हूं और मुझे तुरंत इसकी जानकारी मिली है. मैं कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता.”

कश्मीर में महबूबा सरकार के गिरने के बाद गृह मंत्रालय में ऐसा माहौल था. एक अधिकारी ने यहां तक कह दिया कि राजनाथ सिंह आधिकारिक तौर पर सरकार में दूसरे नंबर पर हैं लेकिन सिर्फ कागजों में. कहा तो ये भी जा रहा है कि राजनाथ सिंह और वार्ताकार दिनेश्वर शर्मा रमजान के पवित्र महीने में घोषित एकतरफा सीजफायर को आगे बढ़ाना चाहते थे लेकिन राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोवाल और सेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत के विरोध के बाद रविवार को प्रधानमंत्री मोदी ने सीजफायर खत्म करने का फैसला किया.

अखबार का दावा कि प्रधानमंत्री कार्यालय में डोवाल सत्ता के केंद्र हैं और आंतरिक सुरक्षा और कश्मीर पर वह ही अहम फैसले लेते हैं. इस पूरी कवायद के बाद शाम करीब 4.30 बजे राजनाथ सिंह ने अकबर रोड स्थित अपने आवास पर गृह सचिव राजीव गॉबा, आईबी प्रमुख राजीव जैन और विशेष सचिव रीना मित्रा के साथ कश्मीर की सुरक्षा स्थिति को लेकर बैठक की. इस बैठक में डोवाल भी मौजूद थे. इसके बाद राजनाथ ने जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल एनएन वोहरा से भी बात की.

GET YOUR OWN WEBSITE
FOR ₹9,999
Domain & Hosting FREE for 1 Year
No Hidden Charges
Advertisement
Advertisement