Published On : Mon, Jun 4th, 2018

फेसबुक ने फिर किया डेटा लीक, एप्पल-अमेजन समेत 60 कंपनियों को दी यूर्जस की प्राइवेट जानकारी

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नई दिल्ली: पहले से ही डेटा चोरी का आरोप झेल रही फेसबुक एक बार फिर से विवादों में घिर गई है। एक बार फिर से फेसबुक पर डेटा शेयर करने का आरोप लगा है। न्यूयॉर्क टाइम्स द्वारा जारी की गई रिपोर्ट के मुताबिक, सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक ने एप्पल, सैमसंग, माइक्रोसॉफ्ट समेत स्मार्टफोन बनाने वाली दुनिया की करीब 60 कंपनियों को यूजर्स से संबंधित जानकारी लीक की है। दरअसल फेसबुक ने दुनिया की सबसे बड़ी कंपनी बनने के लिए ने फोन और अन्य डिवाइस बनानेवाली कंपनियों से यूजर्स की निजी जानकारियों तक पहुंच देने का बड़ा समझौता किया था। आपको बता दें कि, फेसबुक सोशल मीडिया पर सेवा देने वाली दुनिया की सबसे बड़ी कंपनी है।

2010 में हुई थी डील
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक जानकारी साझा करने वाली इस डील को फेसबुक ने साल 2010 में किया था। जबकि साल 2011 में फेसबुक ने अमेरिकी फेडरल ट्रेड कमीशन के साथ प्राइवेसी प्रोटेक्शकन एंड कम्लामें इंस कन्सेंरट डिक्री पर साइन किया था, जिसमें कंपनी की तरफ से कहा गया था कि वो किसी भी यूजर्स की जानकारी को साझा नहीं करेगी। ऐसे में फेसबुक लगातार साल 2011 से इस नियम का उल्लंघन कर रही है। रिपोर्ट में कंपनी के अधिकारियों के हवाले से कहा गया है कि डाटा साझा करने के समझौते का काम बहुत पहले शुरू कर दिया गया था जबकि स्मार्टफोन पर फेसबुक के एप का पूरी तरह प्रसार भी नहीं हुआ था।

इस डील में ब्‍लैकबेरी थी शामिल
कंपनी के एक अधिकारी ने न्यूयॉर्क टाइम्स को दी जानकारी के मुताबिक, स्मार्टफोन कंपनी और फेसबुक के बीच हुई डील अभी भी चल रही है। इस डील से फेसबुक को अपनी रीच बढ़ाने में मदद मिली है। डील के मुताबिक, स्मार्टफोन बनाने वाली कंपनियां भी मैसेजिंग और लाइक बटन या एड्रेसबुक जैसे सोशल नेटवर्क से जुड़े पॉपुलर फीचर का ऑफर दे सकती है। फेसबुक ने जिन कंपनियों के साथ डील की थी, उसमें ब्‍लैकबेरी भी शामिल है।

फेसबुक पर 8.7 करोड़ लोगों के निजी डाटा को गलत तरीके से साझा करने का आरोप
इस पूरी डील की सबसे चौंकाने वाली बात यह कि, इस डील के तहत यूजर्स ही नहीं उनके दोस्तों की निजी जानकारियों तक इन कंपनियों की फेसबुक ने दी हैं। बताया जा रहा है कि अप्रैल तक इस तरह की साझेदारी जारी रही। कैम्ब्रिज एनालिटिका से डेटा शेयर करने के मामले का खुलासा होने के बाद फेसबुक और इसकी गतिविधियां जांच के दायरे में आ गईं। उल्लेखनीय है कि कुछ हफ्तों पहले ही 8.7 करोड़ लोगों के निजी डाटा को गलत तरीके से साझा करने पर फेसबुक को तीखी आलोचनाएं झेलनी पड़ी थी , और अब यह रिपोर्ट सामने आयी है।