Published On : Mon, Nov 1st, 2021

दुबई एक्सपो में डॉ. दीक्षित ने मेट्रो नियो और नागपुर मेट्रो एमएमआई का किया प्रदर्शन

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नागपुर मेट्रो ने फीडर सेवा से लोगों को जोड़ा

नागपुर: महानगर में निर्माण कार्य करना और मेट्रो सेवा से नागरिकों को जोड़ना चुनौती पूर्ण कार्य है । परिवहन सेवा के माध्यम से इसमें सफलता प्राप्त की जा सकती है। नागपुर मेट्रो ने इस चुनौती पूर्ण कार्य को फीडर सर्विस के माध्यम से साध्य किया है। यह जानकारी महामेट्रो के प्रबंध निदेशक डॉ. ब्रजेश दीक्षित ने दी उन्होंने कहा की हाल ही में नागपुर मेट्रो को मल्टी-मॉडल इंटीग्रेशन (एमएमआई ) का राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त हुआ है। डॉ. दीक्षित वर्ल्ड एक्सपो दुबई २०२१ में स्मार्ट एंड सस्टेनेबल ट्रांसपोर्टेशन विषय पर आयोजित चर्चासत्र में सम्बोधित कर रहे थे। डॉ. दीक्षित ने दुबई एक्सपो में मेट्रो नियो और नागपुर मेट्रो एमएमआई का प्रदर्शन किया। उन्होंने कहा की मेट्रो नियो टियर २ और टियर ३ भारतीय शहरों के लिए एक नया और किफायती मास ट्रांसपोर्ट साधन है । महामेट्रो द्वारा नासिक में मेट्रो नियो तकनीकी लागू की गई है।

चर्चा मॉडरेटर डॉ ओ पी अग्रवाल ने सर्वश्रेष्ठ मेट्रो फीडर सेवा का राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त करने के लिए डॉ दीक्षित की प्रशंसा की । उन्होंने कहा कि नागपुर मेट्रो ने मॉडल फीडर सर्विस बनाई है, जिसका अनुकरण अन्य महानगरों को भी करना चाहिए।

डॉ दीक्षित ने आगे कहा कि भारत में मेट्रो फीडर सेवा ई-स्कूटर, ई-ऑटोरिक्शा, ई-रिक्शा, बैटरी संचालित मिनी वैन, साइकिल और सिटी बसों के माध्यम से प्रदान की जा सकती है। “नागपुर मेट्रो अपने यात्रियों को इनमें से कई वाहन उपलब्ध करा रही है। हमने इस उद्देश्य के लिए निजी ऑपरेटरों और नागपुर नगर निगम (एनएमसी) के साथ समझौता (एमओयू) किए हैं। हम एयरपोर्ट मेट्रो स्टेशन से नागपुर एयरपोर्ट पर फीडर सर्विस भी मुहैया करा रहे हैं।

डॉ. दीक्षित ने कहा कि फीडर सेवाएं सफलतापूर्वक उपलब्ध कराने के लिए यह जरूरी है कि मेट्रो स्टेशनों के पास जरूरी इंफ्रास्ट्रक्चर हो. “हमने शुरुआत से ही यह बुनियादी ढांचा प्रदान किया है। हमारे स्टेशनों में साझा साइकिल के लिए जगह है, वाहन पार्किंग के लिए और फीडर वाहनों के लिए भी व्यवस्था की गई है।

डॉ दीक्षित ने मेट्रो नियो पर प्रस्तुति दी, जिसे महा मेट्रो द्वारा डिजाइन किया गया है। उन्होंने इसे टियर -2 और टियर – 3 भारतीय शहरों के लिए एक अभिनव और लागत प्रभावी जन परिवहन साधन बताया । “यह रास्ते पर चलता है और पर्यावरण के अनुकूल है। डॉ अग्रवाल ने कहा कि यह मॉडल दुनिया के अन्य शहरों के लिए बहुत मददगार साबित होगा।