Published On : Sat, Sep 5th, 2020

BSNL के पास पैसा नहीं, 20 हजार कॉन्ट्रैक्ट कर्मचारियों की करेगी छंटनी

BSNL's Plan

नागपुर– सरकारी टेलीकॉम कंपनी BSNL ने अपनी सभी यूनिटों को खर्च घटाने के लिए कहा है. इससे कंपनी के लिए कॉन्ट्रैक्टर के जरिये काम कर रहे 20 हजार कामगारों पर छंटनी की तलवार लटक गई है. बीएसएनएल कर्मचारी संगठन के मुताबिक कंपनी ने 30 हजार कॉन्ट्रैक्ट कर्मचारियों को पहले ही निकाल दिया है. इन कर्मचारियों का एक साल से भी अधिक का वेतन बकाया है.
वीआरएस स्कीम के बावजूद लगातार खराब हो रही वित्तीय सेहत

कर्मचारी संगठन ने बीएसएनएल के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर पी के पुरवार को लिखी चिट्ठी में कहा है कि कंपनी की वित्तीय स्थिति लगातार खराब होती जा रही है. वीआरएस स्कीम लागू होने के बाद से ही इस सरकारी कंपनी की हालत खराब हो रही है. अलग-अलग शहरों में मैनपावर की कमी से नेटवर्क में लगातार दिक्कत बनी रहती है.
कर्मचारियों को समय पर वेतन नहीं

Gold Rate
18 Aug 2025
Gold 24 KT ₹ 1,00,100 /-
Gold 22 KT ₹ 93,100 /-
Silver/Kg ₹ 1,15,400/-
Platinum ₹ 48,000/-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above

यूनियन ने कहा है कि वीआरएस स्कीम के तहत बड़ी संख्या में कर्मचारियों के चले जाने के बाद भी मौजूदा कर्मचारियों को समय पर वेतन नहीं मिल रहा है. पिछले 14 महीनों में 13 कॉन्ट्रैक्ट कर्मचारी वेतन न मिलने के कारण आत्महत्या कर चुके हैं. बीएसएनएल ने 1 सितंबर को सभी जनरल मैनेजरों को एक पत्र लिख कर कहा था कि वे कॉन्ट्रैक्ट कर्मचारियों का खर्चा घटाने की कोशिश करें. उनसे कहा गया था कि ठेके के तहत काम करने वाले कामगारों को कम से कम काम पर लगाया जाए ताकि खर्चा घटे. सीएमडी ने कहा है कि सभी जनरल मैनेजर अपने-अपने जोन में खर्चा घटाने का रोड मैप तैयार कर भेजें.

बीएसएनएल एंप्लॉयज यूनियन के जनरल सेक्रेट्री पी अभिमानी ने कहा कि छंटनी की प्रक्रिया के तहत 30 हजार कर्मचारियों को निकाला चुका है. अब खर्च घटाने के आदेश का कम से कम 20 हजार लोगों पर असर पडे़गा.उनकी नौकरियां जा सकती हैं. 2019 में वीआरएस के तहत कम से कम 79 हजार कर्मचारियों को घर बिठाया जा चुका है.

Advertisement
Advertisement