Published On : Mon, Aug 6th, 2018

सार्वजनिक शौचालयों के खस्ता हाल

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नागपुर: एक अरसे से शहीद चौक स्थित सार्वजानिक सुलभ शौचालय व महाराणाप्रताप सुलभ शौचालय की स्थिति दयनीय बनी हुई है. व्यापारियों और नागरिकों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. मनपा द्वारा नागरिकों के लिए बनाए गए सार्वजानिक शौचालय की हालत इतनी दयनीय हो चुकी है कि हर जगह कचरा, गंदगी, टूटी टायलेट शीट, टूटे बेसिन, टूटी टाइल्स ही नजर आती है. यहां असामाजिक तत्वों का डेरा भी लगा रहता है.

बावजूद इसके प्रशासन को उध्वस्त अवस्था में पड़े शौचालयों की सुध नहीं है. शहर में स्थित अन्य शौचालयों की भी दुरावस्था है. शिकायत मिलने पर प्रभाग 21(क) की नगरसेविका आभा पांडे ने आकस्मिक जांच की तो शौचालय के अंदर जहां देखो वहां गंदगी फैली पायी गई. सभी शौचालय और स्नानगृह के दरवाजों की कुंडियां टूटी पड़ी हैं. दरवाजों के हेन्डल पर रस्सी बांधकर रखा हुआ है. टायलेट सीट टूटी पड़ी है.

स्नानगृह में निजी घरेलू और कबाड़ रखा हुआ है. कई दिनों से सफाई ही नहीं की गई है जिसकी बदबू से परिसर के निवासियों और राहगीरों का यहां से गुजरना मुश्किल हो गया है.

अधिकारियों की ली क्लास
शौचालय की दुरावस्था को देख कर पांडे ने अधिकारियों और कर्मचारियों को बुलवाया और जमकर क्लास ली. जिसके बाद सहायक नियंत्रक ईश्वर रजनीश ने 8 दिनों के अंदर शौचालय की सभी उखड़ी टाइल्स को लगाने और साफ-सफाई किए जाने का आश्वासन दिया. जांच में हैरान करने वाली बात यह सामने आई कि शौचालय में जिस व्यक्ति को बैठना चाहिए था उसने अपने पिता को शौचालय में बिठा रखा है और खुद कहीं और नौकरी कर रहा है.

पिछले 3 महीने से नियुक्त व्यक्ति के 80 वर्षींय पिता अवैध तरीके से शौचालय की देखरेख कर रहे हैं. वहीं नागरिकों द्वारा कई बार ऐसी शिकायत आई है कि शौचालय में लघुशंका के लिए भी पैसे वसूले जाते हैं.

असामाजिक तत्वों का डेरा
शहीद चौक के अलावा महाराणाप्रताप और शांतिनगर सुलभ शौचालय की भी यही अवस्था है. यहां गंदगी और अव्यवस्था के अलावा हर दिन असामाजिक तत्वों का डेरा लगा रहता है. सुबह हो या रात किसी भी समय लोग यहां नशा करते पाए जाते हैं. शौचालय में शराब की बोतलें भी पड़ी नजर आई. कई बार महिलाओं के साथ बदसलूकी किए जाने के भी मामले सामने आए हैं.