Published On : Sat, Jan 4th, 2020

कैबिनेट मंत्री नहीं बनाने से नाराज राज्यमंत्री अब्दुल सत्तार ने दिया इस्तीफा

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मुंबई: 30 दिसंबर 2019 को हुए 36 मंत्रियों के शपथ ग्रहण के बाद भी अभी तक मंत्रालय का बंटवारा नहीं हो सका है। इस बीच शनिवार को औरंगाबाद से शिवसेना के विधायक और राज्यमंत्री पद की शपथ लेने वाले अब्दुल सत्तार ने मंत्रिपद से इस्तीफा दे दिया है। वे कैबिनेट मंत्री का पद नहीं मिलने से नाराज चल रहे थे। हालांकि, अभी तक शिवसेना की ओर से इसकी पुष्टि नहीं की गई है।

अब मंत्रालयों के बंटवारे को लेकर एनसीपी और कांग्रेस में अब ठन गई है। एनसीपी और शिवसेना अपने कोटे से एक भी मंत्री पद कांग्रेस से अदला-बदली करने के लिए तैयार नहीं है। एनसीपी और कांग्रेस नेताओं के बीच जारी विवाद के कारण दोनों दलों के नेता बैठक बीच में ही छोड़कर चलते बने। दोनों पार्टियों के आपसी विवाद के कारण मंत्रियों के विभागों का बंटवारा अंतिम मुकाम तक नहीं पहुंच सका।

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गुरुवार की देर रात विभागों के बंटवारे को लेकर शिवसेना नेता सुभाष देसाई के सरकारी निवास पर शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस के प्रमुख नेताओं की बैठक हुई थी। बैठक में अशोक चव्हाण ने ग्रामीण विकास, सहकारिता और कृषि विभाग में में से कोई एक विभाग कांग्रेस को देने की मांग रखी। चव्हाण ने शिवसेना और एनसीपी के साथ विभागों के अदला-बदली पर भी सहमति दिखाई।

अजित पवार और चव्‍हाण में तीखी बहस
सूत्रों की माने तो चव्‍हाण की मांग पर अजित पवार ने कहा कि कांग्रेस में किससे बात करें, कोई नेता ही नहीं है। इस पर अशोक चव्हाण नाराज हो गए। उन्होंने कहा कि वह प्रदेश अध्यक्ष थे और राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री भी रहे हैं। ऐसे में उनकी बात को कैसे नकारा जा सकता है। इस पर पवार ने कहा कि विभाग बंटवारे की पिछली बैठक में पृथ्वीराज चव्हाण थे, उन्होंने तो कुछ नहीं कहा, अब अशोक चव्हाण नई मांग कर रहे हैं। आखिर ऐसे कैसे चलेगा? यह बोलते हुए अजित पवार बेहद ही आक्रामक हो गए। इस पर अशोक चव्हाण ने नाराजगी व्यक्त की।

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