Published On : Fri, Jan 4th, 2019

जोमोटो, स्वीगी की भी छानबीन

Advertisement

नागपुर: जोमेटो, स्विगी, उबेर ईट जैसी कंपनियों ने शहर में तेजी से पैर पसारा और हजारों ग्राहकों को सेवा प्रदान करने लगी. खाना कहां से आ रहा है, होटल पंजीकृत है या नहीं, यह किसी को पता नहीं है. एक ग्राहक ने इन कंपनियों पर घटिया खाना आपूर्ति करने की शिकायत एफडीए से की. इसके बाद एफडीए की नजर इन कंपनियों के प्रति टेढ़ी हो गई और इन कंपनियों को नोटिस जारी कर पूरी जानकारी देने को कहा है. और भविष्य में भी अगर कोई होटल इस सेवा से जुड़ता है, तो उसकी भी जानकारी विभाग को देने की बात कही गई है.

नियमों की अनदेखी कर आनलाइन कंपनियां किसी भी रेस्टारेंट या होटल से खाद्य सामग्री की बिक्री नहीं कर सकती हैं. फूड एंड ड्रग्स एडमिनिस्ट्रेशन विभाग को जब इसकी शिकायत मिली, तो इनके भी कान खड़े हो गए हैं. विभाग को शिकायत मिली कि सस्ता खाना देने के नाम पर कुछ आनलाइन कंपनियां किसी भी रेस्टारेंट और होटल से खाना उपलब्ध करा रहे हैं. इन होटलों का पंजीयन तक नहीं है. इन होटलों का माहौल भी हाईजेनिक नहीं है और साफ-सफाई तो कोसों दूर की बात है.

एफडीए के संयुक्त आयुक्त शशिकांत केकरे ने बताया कि आनलाइन कंपनियां केवल खाना आपूर्ति कर अपनी जिम्मेदारी से पल्ला नहीं झाड़ सकतीं. उन्हें यह सुनिश्चित करना होगा कि जहां से वे माल ले रहे हैं, वहां पर नियम-कानून का पालन हो रहा हो.

600 होटल, रेस्टारेंट की सूची दी
केकरे ने बताया कि शिकायत मिलने के बाद अधिकारियों को इस काम पर लगाया गया और कई होटल, रेस्टारेंट आदि की जांच की गई. जोमेटो को नोटिस देकर उनसे जवाब भी मांगा गया. कंपनी की ओर से एफडीए को 600 रेस्टारेंट, होटल आदि की सूची उपलब्ध कराई गई है. सूची के साथ ही उन होटलों के पंजीयन नंबर भी कंपनी की ओर से दिए गए हैं. उन्होंने कहा है कि वे केवल लाइसेंस प्राप्त लोगों से ही कारोबार कर रहे हैं. विभाग इस सूची की जांच-पड़ताल भी कर रहा है. जोमेटो ने उ‌न्हें बताया है कि अब तक 600 लोगों के साथ उनका करार हुआ है, और वे उन्हीं के साथ कारोबार को आगे बढ़ा रहे हैं. भविष्य में अगर इनकी संख्या बढ़ती भी है, तो उसकी सूची विभाग को उपलब्ध कराया जाएगा.

राष्ट्रीय परमिट भी सौंपा
उन्होंने बताया कि इन कंपनियों के पास राष्ट्रीय स्तर का लाइसेंस है. लाइसेंस की कापी भी एफडीए को सौंपी गई है. इसी प्रकार वितरण यानी चेन सिस्टम चलाने के लिए भी कंपनियों के पास लाइसेंस है. इसके आधार पर कंपनियां अपना वितरण का काम कर रही हैं.

एफडीए से करें शिकायत
सहायक आयुक्त मिलिंद देशपांडे ने कहा कि अगर किसी भी ग्राहक को आनलाइन कंपनियों से खराब, सब स्टैंडर्ड माल या इससे संबंधित कोई भी शिकायत हो, तो वे एफडीए के पास शिकायत कर सकते हैं. शिकायत के बाद होटलों, रेस्टारेंट आदि की जांच कर कार्रवाई की जाएगी. वैसे विभाग अपनी ओर से नियमित रूप से अभियान चलाता है, बावजूद हम सुधार करने को तैयार हैं.