पालकमंत्री ने किया संबोधित
अमरावती। पालकमंत्री प्रवीण पोटे ने कहा कि पारंपारिक खेती के साथ किसानों ने तुती के माध्यम से रेशीम कोष उत्पादन लेना चाहिए. एक एकड़ में प्रति माह 30 से 40 हजार रुपये कोष उत्पादन से प्राप्त हो सकते है. इस व्यवसाय से किसानों की आर्थिक स्थिती में सुधार आ सकता है इसलिए रेशीम खेती उत्तम व्यवसाय है. नांदगांव खंडेश्वर में आयोजित कार्यशाला में वे संबोधित कर रहे थे.
मार्केट उपलब्ध कराये
पालकमंत्री के हाथों कार्यशाला का उद्घाटन किया गया. इस समय विधायक प्रा. विरेंद्र जगताप, जिप अध्यक्ष सतीश उईके, शिवराय कुलकर्णी, किरण महल्ले, महेंद्र ढवले, नितीन व्यवहारे, रेशीम विभाग के राजाराम जोगदंड, विशेष कार्यकारी अधिकारी अनिल भटकर उपस्थित थे. विधायक जगताप ने कहा कि रेशीम खेती फायदे की खेती है. बेरोजगारी दूर करने के लिए भी यह उद्योग प्रोत्साहन देगा. इस उद्योग में आनेवाली बाधाओं की जानकारी भी किसानों को देने का आवाहन किया. रेशीम उद्योग के सहाय्यक संचालक महेंद्र ढवले ने रेशीम उद्योग के लिए मार्केट उपलब्ध कराने की मांग की. उन्होंने कहा कि तुती बुआई में जिले का समावेश करना चाहिए क्योंकि तुती पर ही इस उद्योग की नींव टिकी है. कार्यशाला में विभाग के ज्येष्ठ सहाय्यक सुभाष कोल्हे, क्षेत्रसहाय्यक पी.एस.लोंढे, वरिष्ठ तांत्रिक सहाय्यक विश्वजीत पावसकर उपस्थित थे. आभार एन.एस.हगवणे ने माना.