- खेत का कुआँ ढह जाने से परेशान
- किसी भी सरकारी अधिकारी ने नहीं की मदद
- शीत सत्र में मुख्यमंत्री को सौंपा निवेदन
तलेगाँव (शा. पंत) (वर्धा)। एक किसान का सन् २००२ में उसके खेत स्थित कुआँ ढह गया. उसने आर्थिक संकटों में घिर जाने से तत्संबंधी सरकारी अधिकारियों से लगातार मदद के लिए गुहार लगाता रहा, परंतु उसे कहीं से भी सहायता नहीं मिली. अब उसके समक्ष जीवन-मरण का यक्ष प्रश्न खड़ा हो गया है. अंत में मुख्यमंत्री से भी उक्त किसान ने गुहार लगायी है. अब उसे मदद की आस है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार, शहर से करीब गाँव खड़का में किसान प्रभाकर कृष्णराव वानखड़े के मौजा पटवारी साझा क्र. १५ चिस्तूर में खेत है. जो सन् २००२ में अतिवृष्टि व बारिश से खेत स्थित कुआँ क्षतिग्रस्त होकर पूर्ण रूप से ढह गयी थी. तब से किसान आर्थिक सहायता के लिए सभी सरकारी कार्यालयों के चक्कर काट रहा है, परंतु अब तक उसे सहायता नहीं मिली है. कुएं के ढह जाने से सिंचाई व्यवस्था ठप पड़ गई. फलतः उसकी आर्थिक परिस्थिति गंभीर हो गई. वह अपंग है, इसलिए अब उसके सम्मुख परिवार के पालन-पोषण का सवाल खड़ा हो गया है. इस संबंध में विधानमंडल के शीतकालीन अधिवेशन में मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस को किसान ने एक निवेदन सौंप कर आर्थिक सहायता की माँग की है. अब देखना है कि किसान की समस्या कब तक सुलझेगी.
