तेंदुए की खाल बेचने को ग्राहक तलाश रहे थे , नागपुर व गोंदिया वन विभाग ने दबोचा
गोंदिया: महाराष्ट्र के अंतिम शोर पर बसा गोंदिया जिला 40 प्रतिशत घने जंगल वनपरिक्षेत्र से घिरा है तथा इस जिले पर निसर्ग का वरदान है।
जिले के वनपरिक्षेत्र में शिकारियों द्वारा करंट बिछाकर अथवा पानी में युरिया जैसा जहरीला पदार्थ मिलाकर वन्यजीवों का शिकार कर दिया जाता है जिसके बाद चमड़ा (खाल), नाखून, दांत व अन्य अवशेषों की बिक्री की जाती है।
इसी बीच गोंदिया जिले की सालेकसा तहसील में तेंदूए की खाल व अन्य अंगों की बिक्री किए जाने की गोपनीय जानकारी विभागीय वन अधिकारी नागपुर तथा नागपुर वनविभाग को लगी जिसके बाद नागपुर व गोंदिया वनविभाग अधिकारियों ने 4 दिसंबर की रात संयुक्त कार्रवाई करते हुए तेंदूए की खाल व अन्य अवयवों की बिक्री में जुटे 12 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया।
सूत्रों के मुताबिक गोंदिया जिले के वनपरिक्षेत्र में अब तक अनेक वन्यजीवों का शिकार किया जा चुका है , इस बीच वन्यजीव के अंगों के बिक्री होने की पुख्ता जानकारी मिलने पर नागपुर वनविभागकी एक विशेष टीम तैयार की गई और गोंदिया वनविभाग टीम के साथ सालेकसा तहसील कार्यालय परिसर के निकट जाल बिछाया गया और तेंदूए की खाल की बिक्री का प्रयास करते आरोपी धर लिए गए। कार्रवाई के दौरान मौके से तेंदूएं की 1 खाल, नाखूनों सहित 4 पंजे, 13 दांत, तेंदूए की 10 मुंछ तथा 3 मोटर साइकिलें जब्त की गई।
पकड़े गए आरोपियों में राधेश्याम उईके (50 रा. दल्लाटोला त. सालेकसा), जागेश्वर दसरिया (31 रा. धनसुआ त. सालेकसा), पप्पु मडावी (32 रा. जांभडी), विनोद दसरिया (29 रा. ब्राम्हणटोला), परसराम मेश्राम (50 रा. गिरोला), रामकृष्ण डहारे (40 रा. गोबरीटोला), सुभेचंद नेताम (40 रा. दल्लाटोला), इंदरलाल नेताम (30 रा. दल्लाटोला), दिनेश सहारे (32 रा. देवरी), दिनेश प्रभुदयाल श्रीवास्तव (49 रा. खात जि. भंडारा), संदीप रामटेके (38 रा. मोकारा जि. भंडारा) तथा लितेश कुंभरे (32 रा. बाघनदी जि. राजनंदगांव) का समावेश है। बहरहाल पकड़े गए आरोपियों के खिलाफ वन्यजीव संरक्षण अधिनियम 1972 की विभिन्न धाराओं के तहत गिरफ्तार कर उन्हें प्रथम श्रेणी न्याय दंडाधिकारी आमगांव की कोर्ट में पेश किया गया जहां से सभी आरोपियों को 7 दिसंबर तक कर वनविभाग कस्टडी में भेजा गया है।
उक्त कार्रवाई मुख्य वनसंरक्षक नागपुर वनविभाग पी. कल्याणकुमार, उपवनसंरक्षक डॉ. भारतसिंह हाडा, गोंदिया वन विभाग के उपवनसंरक्षक कुलराज सिंह, विभागीय वनाधिकारी पी.जी. कोड़ापे के मार्गदर्शन में विशेष टीम प्रमुख सहा. वनसंरक्षक एन.जी. चांदेवार, संदीप गिरी, प्रदीप पाटिल, एल.वी. ठोकड, रविकमल भगत, इलमकर, विनोद शेंडे, गणेश जाधव, दिनेश पडवड, निलेश टवले, सुधीर कुलरकर आदि की ओर से की गई।
-रवि आर्य