Published On : Sat, Aug 13th, 2016

कहाँ अटकी है पीवीआर में हुए टिकटों के घोटाले की फाइल?

Nagpur PVR
नागपुर:
पीवीआर मल्टीप्लेक्स में जाली टिकटें बेचकर राजस्व को करोडों का चूना लगाए जाने का सनसनी खेज मामला वर्ष 2014 में सामने आया था। पर खास बात है कि सरकार को करोड़ों का चुना लगाने वाले इस मामले में क्या कार्यवाही हुई इसकी जानकारी किसी के पास नहीं है। एम्प्रेस मॉल में स्थित पीवीआर सिनेमा शहर का सबसे बड़ा मल्टीप्लेक्स सिनेमा गृह है। 15 अगस्त 2012 को शुरू हुए इस मल्टीप्लेक्स में पांच स्क्रीन है जिसके एक स्क्रीन थियटर में 1 हजार 234 सीट है। मल्टीप्लेक्स में जाली टिकटें बेचे जाने की शिकायत खुद यहा के मैनेजर ने 4 मार्च 2014 को गणेशपेठ थाने में की थी। इस शिकायत में 8 फ़रवरी को 29 हजार रूपए की जाली टिकटें छापे जाने की जानकारी भी दी गई थी। मामला उजागर होने के बाद पीवीआर प्रशाशन ने इस मामले में लिप्त 5 कर्मचारियों पर कार्यवाही करते हुए उन्हें नौकरी से निकाल दिया था।

उक्त मामले के सामने आने के बाद विभागीय कार्यालय के मातहत आने वाले राजस्व विभाग ने मामले की जांच शुरू की। इस जांच में पीवीआर के मैनेजरों से से पूछताछ की गई जिसमे अनवर खान ने इस मामले को छुपाया। जबकि अन्य मैनेजर डोमिनिक डिसूजा ने इस मामले की पूरी जानकारी विभाग को दी। विभाग ने एक दिन में 29 हजार के हिसाब से 4 अप्रेल 2014 तक 50 प्रतिशत जाली टिकटों की बिक्री से 34 करोड़ 86 लाख रूपए के मनोरंजन कर के नुकसान का आकलन किया था ।

बड़ा सवाल अब यह उठता है कि कर वसूली विभाग को इस मामले की जानकारी होने के बाद भी इस पर क्या कार्यवाही हुई यह किसी को पता नहीं। यह मलाला और इससे जुडी फाइल कहाँ है? इसकी जानकारी कभी सार्वजनिक नहीं हुई। जबकि 5 अप्रेल 2014 को इस मामले की फाइल विभगीय आयुक्त अनूप कुमार के पास पहुँची थी। जहाँ से यह जिलाधिकारी के पास गई। पर इस मामले में क्या कार्यवाही हुई इसकी जानकारी किसी के पास नहीं है। जबकि सरकार को राजस्व का चुना लगाने के मामले में पीवीआर पर मामला दर्ज कर नुकसान की भरपाई की जा सकती थी।

Gold Rate
13 Sept 2025
Gold 24 KT ₹ 1,09,800 /-
Gold 22 KT ₹ 1,02,100 /-
Silver/Kg ₹ 1,29,000/-
Platinum ₹ 48,000/-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above
Advertisement
Advertisement