Published On : Mon, May 12th, 2014

गोंदिया : शक्की बाप ने बेटे, बहू और पत्नी को काट डाला

Advertisement


गोरेगांव की घटना, बहू और पत्नी को जलाने की भी कोशिश की

शक ने हंसते-खेलते परिवार को उजाड़ दिया

गोंदिया

Gold Rate
29 April 2025
Gold 24 KT 96,200/-
Gold 22 KT 89,500/-
Silver / Kg 97,200/-
Platinum 44,000 /-
Recommended rate for Nagpur sarafa Making charges minimum 13% and above
दरिंदा बाप

दरिंदा बाप

शक और संदेह ने एक हंसते-खेलते परिवार को उजाड़कर रख दिया. पांडुरंग अगड़े नामक 60 वर्षीय शंकालु व्यक्ति ने अपनी पत्नी, बेटे और बहू को कुल्हाड़ी से काट डाला. इतना ही नहीं, मारने के बाद पत्नी के पैर काट दिए और बहू तथा पत्नी को जलाने की कोशिश भी की. बाद में पुलिस स्टेशन जाकर आत्मसमर्पण कर दिया. यह हृदयविदारक घटना आज गोरेगांव में घटी. मृतकों में बीरनबाई अगड़े (55), छन्नूलाल अगड़े (32) और बहू योगेश्वरी अगड़े (30) शामिल हैं.

प्राप्त जानकारी के अनुसार दो बेटे और एक बेटी का पिता पांडुरंग अगड़े बरसों से अपनी पत्नी बीरनबाई पर शक़ किया करता था. शक के कारण उस पर खूब अत्याचार भी करता था. कभी खड़ी फसल को जला देता तो कभी पति – पत्नी का झगड़ा होने के बाद उसे बिजली का करंट तक दे देता. तीनों बच्चों का बचपन यही सब देखते हुए बीता.

मासूम बच्चे हो गए अनाथ
फिर बेटी की शादी हो गई. उसके बाद बड़े बेटे मुन्नालाल की भी शादी हो गई. घर के तनाव से परेशान हो वह अपनी पत्नी के साथ अलग रहने लगा. छोटे बेटे छन्नूलाल के विवाह को भी 6 साल हो चुके थे. उसे एक 5 वर्ष का बेटा और एक 3 साल की बेटी है. वह माता – पिता के साथ ही रहता था. मगर पांडुरंग के मन में कुंडली मारे बैठे शक के सांप का फुफकारना बंद नहीं हुआ.

पहले बेटे की जान ली
घटना के एक दिन पहले छन्नूलाल का बड़ा भाई मन्नूलाल अपनी पत्नी के साथ एक विवाह समारोह में भाग लेने गोंदिया गया था. कल रात जब पांडुरंग की पत्नी, बेटा और बहू गहरी नींद में थे, उसने तडक़े गोदड़ी के ऊपर से ही बेटे पर कुल्हाड़ी और घन से प्रहार कर उसे वहीं ढेर कर दिया. इसके बाद वह उसी कमरे में छिपकर बैठा रहा. सुबह बहू के कमरे में आने पर उस पर भी कुल्हाड़ी और घन से प्रहार कर उसकी जान ले ली. फिर बहू पर मिट्टी का तेल डाल उसे जलाने का प्रयास किया. उसके बाद किचन में जाकर पत्नी को भी मार डाला. क्रूर पांडुरंग यहीं पर नहीं रुका. उसने अपनी पत्नी के पैर काट डाले और तेल डाल कर उसे जलाने की कोशिश की.

03

. . . और बुझ गई प्राणज्योति
घटना के बाद पांडुरंग ख़ुद पुलिस स्टेशन गया और अपना अपराध कबूल करते हुए समर्पण कर दिया. पुलिस तत्काल घटनास्थल पर पहुंची. तीनों उस वक्त तक जीवित थे. पुलिस ने तीनों को केटीएस अस्पताल में भर्ती कराया, जहां बीरनबाई ने दम तोड़ दिया, मग़र बेटा-बहू ने घटना पर अपना बयान दिया. दोनों को नागपुर ले जाने क़ी सलाह दी गई, मगर उससे पहले ही दोनों की प्राणज्योति बुझ गई.

फांसी पर चढ़ाने की मांग
घटना सुबह की होने के कारण पड़ोसियों को जल्दी इस बारे में पता नहीं चल सका. इसीलिए काफी देर तक रक्तरंजित लाशें वहीं पड़ी रहीं. गांव के लोगों को घटना की जानकारी मिलते ही अस्पताल में भीड़ लग गई. लोगों ने पांडुरंग को फांसी पर चढ़ाने की मांग की. बड़े बेटे और बहू के विवाह समारोह में जाने के कारण वे बच गए. पांडुरंग को गिरफ्तार कर लिया गया है. पुलिस आगे की जांच कर रही है.

Advertisement
Advertisement