नारे जमीन पर !
प्रजातंत्र का महापर्व होते है चुनाव, जिसकी आहट होते ही, सम्पूर्ण वातवरण अलग ही परिवेश में ढल जाता है. धार्मिक कृतियाँ में जो महाकुंभ का मान है, उसी समकक्ष सामाजिक और राजनैतिक क्षेत्र में चुनाव का स्थान है. चुनाव हालांकि...
नारे जमीन पर !
प्रजातंत्र का महापर्व होते है चुनाव, जिसकी आहट होते ही, सम्पूर्ण वातवरण अलग ही परिवेश में ढल जाता है. धार्मिक कृतियाँ में जो महाकुंभ का मान है, उसी समकक्ष सामाजिक और राजनैतिक क्षेत्र में चुनाव का स्थान है. चुनाव हालांकि...